मशरूम की फार्मिंग 2024 कैसे करें How to start mushroom forming business in Hindi Low investment high Profits

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मशरूम की फार्मिंग 2024 कैसे करें:- दोस्तों हम लोग शादी विवाह पार्टी एवं अन्य अवसरों में आजकल सबसे ज्यादा फेमस मशरूम की सब्जी है जिसका प्रयोग आज हम लोग प्रतिदिन अपने घर पर भोजन में भी करते हैं जो खाने के साथ-साथ औषधी के काम आता है जो हमारे शरीर में बीमारियों से लड़ने की क्षमता को बढ़ाता है।

मशरूम के तमाम फायदों को देखते हुए मशरूम फार्मिंग बहुत ही प्रॉफिटेबल हो सकता है क्योंकि पिछड़े क्षेत्र में अभी भी मशरूम की खेती बहुत कम उगाया जाता है जिसका कारण कम इसके बारे में जानकारी का अभाव है आपको मशरूम की फार्मिंग में रुचि है और थोड़ा इन्वेस्टमेंट करने की क्षमता हैं इसकी खेती करके अच्छी खासी कमाई कर सकते हैं।

तो आइये आर्टिकल के माध्यम से समझने की कोशिश करते हैं कि मशरूम की फार्मिंग कैसे करें इसकी खेती करने में कितनी लागत आएगी किन-किन वस्तुओं की जरूरत पड़ेगी कितनी कमाई की जा सकती है संपूर्ण बातों का अध्ययन करते हैं।

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Table of Contents

मशरूम की फार्मिंग कैसे शुरू करें Mushroom forming business – एक नज़र में

फसल का नाममशरूम की फार्मिंग
मशरूम के प्रकारसफेद बटन, ऑयस्टर
बुवाईअक्टूबर से मार्च तक
रिटायरमेंट एरियाकम से कम 500 वर्गफीट
विद्युत रिक्वायरमेंट घरेलू
लाइसेंसबिना किसी लाइसेंस के
लागत₹50000-10000
लाभ60 से 70 प्रतिशत
मशरूम का बीज ₹100 से 100000/-किलोग्राम
गेहूं का भूसा₹8-10/-किलोग्राम

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मशरूम क्या है- What is mushroom

मशरूम एक प्रकार का खाया जाने वाला फंगस है जिसका साइंटिफिक नाम एगरिकस बिस्पोरस (Agaricus bisporus) है मशरूम अपने आप में एक असाधारण पौधा होता है इसमें ना तो कोई जड़, ना हीं पत्ते और ना ही फल होता है मशरूम का तना एक गूदे वाली गोल टोपी से ढका और नीचे गिल्स, या छतरी जैसे दिखने वाले क्लोम होते हैं मशरूम पूरी तरह से शाकाहारी होता है जिसका उपयोग सब्जी के रूप में किया जाता है।

मशरूम में प्रोटीन, पोटैसियम, विटामिन्स, फॉस्फोरस, फाइबर और एंटीऑक्सिडेंट पाये जाते हैं मशरूम में एंटीऑक्सिडेंट और फाइटोकेमिकल्स होते हैं, जो इसे एंटीबैक्टीरियल और एंटीफंगल बनाते हैं इसका सेवन करने मौसमी संक्रमण से बचा जा सकता है और प्रतिरक्षा मजबूत बनाई जा सकती है मशरूम खाना ब्लड प्रेशर को नियंत्रित रखता है और वजन कम करने एवं कैंसर का खतरा कम करने में मदद मिलता है।

भारत में मशरूम की डिमांड-Demand for mushrooms in India

मशरूम की खपत विकसित देशों के मुकाबले बहुत कम है भारत में प्रति व्यक्ति मशरूम की खपत करीब 250 ग्राम है जबकि चीन जैसे देशों में प्रति व्यक्ति मशरूम की खपत करीब 20 किलोग्राम है और विश्व की कुल मशरूम उत्पादन का 65 से 70% अकेले चीन ही उत्पादन करता है एक अनुमान के मुताबिक 2024 से 2030 तक भारत में मशरूम का उत्पादन करीब 12.5% की CAGR से बढ़ाने की उम्मीद है जिससे भारत में अभी मशरूम की फार्मिंग को लेकर बहुत सी संभावनाएं हैं।

मशरूम कितने प्रकार के पाए जाते हैं- Type of mushroom

दुनिया भर में मशरूम की लगभग 10000 प्रजातियां पाई जाती हैं जिसमें बहुत सी प्रजातियां जहरीली व बहुत सी प्रजातियां औषधीय गुणों के लिए जानी जाती हैं कुछ प्रजातियां हैं जिनका इस्तेमाल खाने के लिए किया जाता है भारत में सफेद बटन मशरूम, ऑयस्टर मशरूम, मोरेल (गुच्छी) मशरूम आदि प्रमुखता से पाए जाते हैं इसके अलावा भी कुछ निम्नलिखित प्रकार की प्रजातियां पाई जाती हैं।

  • सफेद बटन मशरूम- व्यापक रूप से उपलब्ध बटन मशरूम सफ़ेद या हल्के भूरे रंग के होते हैं मोटे और गुंबद या बडे बटन के आकार का मशरूम वजन में हल्का होता है इसका उपयोग भारत में बड़े पैमाने पर किया जाता है।
  • ऑयस्टर मशरूम-ऑयस्टर मशरूम में उभरी हुई टोपी पंख के समान होती हैं और इसका कलर हल्का भूरा से ग्रे होता है। ऑयस्टर मशरूम का उपयोग भारत में प्रमुखता से किया जाता है।
  • शिटेक मशरूम- इसका लैटिन नाम Lentinula edodes है शिटेक मशरूम का रंग गहरे लाल भूरे रंग तक होता है और इसमें चौड़ी, छतरी के आकार की टोपी होती है।
  • मोरेल (गुच्छी) मशरूम- गुच्छी मशरूम भारत की सबसे महंगी किस्म में से एक है इसकी कीमत 30000 से ₹40000 प्रति किलोग्राम है यह मधुमक्खी के छत्तों के समान इसकी टोपी होती है यह मशरूम जम्मू कश्मीर की पहाड़ियों में खासकर पुलवामा के आस-पास के क्षेत्र में ज्यादातर देखने को मिलता है यह ज्यादातर प्राकृतिक रूप से जंगलों में उगते है।
  • ईनोकी मशरूम- ईनोकी मशरूम गोल्डन नीडल मशरूम या लिली मशरूम भी कहा जाता है यह मशरूम भारत के साथ-साथ चीन, जापान में भी पाया जाता है इसका आकार पतला लंबा तना ऊपर छोटी सी टोपी होती है इसका रंग सफेद होता है।
  • रीशी मशरूम- इस मशरूम का लैटिन नाम ‘Lucidum’है यह चमकदार लाल भूरे रंग का रंग का होता है रीशी मशरूम को लिंग्जी मशरूम भी कहा जाता है यह औषधीय गुणों वाले मशरूम मे आता है इसके औषधीय और पौष्टिक गुणों के अविश्वसनीय प्रभाव के कारण इसे ‘अमरता का मशरूम’ की उपाधि मिली है।

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योग्यता एवं कार्यकुशलता-Ability and efficiency

मशरूम की फार्मिंग के लिए किसी विशेष प्रकार के योग्यता की आवश्यकता नहीं होती है लेकिन आपको कुशल होना आवश्यक है नहीं तो आप मशरूम की पैदावार अधिक नहीं कर पाएंगे आपको मशरूम उगाने का तरीका या मशरूम की खेती कैसे करें सीखना होगा जो आप किसी मशरूम के फार्म पर जाकर सीख सकते हैं या यह सरकार के द्वारा चलाई जा रही कौशल विकास योजनाओं के माध्यम से सीख सकते हैं।

आवश्यक एरिया, प्लांट एवं मैनपॉवर-Required area, plant and manpower

मशरूम की फार्मिंग के लिए कम से कम 500 वर्गफीट मकान और झोपड़ी की आवश्यकता होगी अगर आप छोटे स्तर पर मशरूम की खेती करते हैं तो आप स्वयं ही सभी कार्य कर सकते हैं लेकिन बड़े स्तर पर मशरूम की खेती करने के लिए आवश्यकतानुसार 2 से 3 व्यक्तियों की आवश्यकता पड़ सकती है।

मशरूम की खेती में रोशनी एवं तापमान को मैनेज करने के लिए विद्युत की आवश्यकता पड़ेगी जिसमें आप अपने घरेलू विद्युत का इस्तेमाल कर सकते हैं या सौर ऊर्जा या अन्य विद्युत वैकल्पिक स्रोतों का सहारा ले सकते हैं।

मशरूम की फार्मिंग करने में कितना खर्च आता है- How much does it cost to cultivate mushrooms

सामान्य तौर पर मशरूम की खेती के लिए लागत भौगोलिक स्थिति उगाई जाने वाले मशरूम की क्वालिटी पर निर्भर करता है कि कितने लागत की आवश्यकता पड़ सकती है।

मशरूम की खेती अगर आप एक 15*12 के कमरे से शुरू करते हैं तो ₹15000 की आवश्यकता पड़ सकती है लेकिन अगर आप बड़े स्तर पर मशरूम की फार्मिंग करना चाहते हैं तो इसमें आपको 100000 से ₹150000 रूपये की आवश्यकता पड़ सकती है।

मशरूम की फार्मिंग शुरू करने में कुछ जरूरी चीजें जैसे मशरूम का बीज (स्पान) ₹100 से 100000/-किलोग्राम, भूसा या पराली ₹8-10/-किलोग्राम, जरूरी केमिकल एवं दवाई, पॉलिथीन, पैकेजिंग मैटेरियल, स्प्रे मशीन आदि प्रमुख है जिनकी आवश्यकता मशरूम उगाने में पड़ेगी जो आपको कहीं भी आराम से उपलब्ध हो जाएगा।

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मशरूम का बीज कहां से खरीदें- Where to buy mushroom seeds

मशरूम का बीज (स्पान) खरीदने लिए बड़े मार्केट में जाकर खरीद सकते हैं या ऑनलाइन Flipcart, Amazon, INDIAMART एवं TRADEINDIA की वेबसाइट पर जाकर मशरूम का बीज (स्पान) खरीद सकते हैं जहां पर आपको ₹100 से लेकर ₹10000 तक का बीज मिल जाएगा।

मशरूम के लिए जलवायु, मौसम एवं उगाने का तरीका- Climate, season and growing method for mushrooms

मशरूम की बुवाई के लिए अक्टूबर से मार्च का महीना सबसे बेहतर होता है छायादार जगह पर मकान, बेसमेंट या झोपड़ी में ही इसकी फार्मिंग करें शुरुआत में तापमान 18 से 25 डिग्री और मशरूम के तैयार होने के समय तापमान 22 से 35 डिग्री चाहिए और उस जगह पर 80 से 90% आर्द्रता होनी चाहिए।

मशरूम उगाने का तरीका वहाँ की जलवायु, बीज की क्वालिटी के अनुसार अलग-अलग हो सकता है सामान्यता निम्नलिखित तरीकों से मशरूम उगाया जाता है।

  • मशरूम की फार्मिंग लगाने से पहले उस जगह को और प्लांट की अच्छे से सफाई, कमरे के तापमान की जांच, पर्याप्त नमी आदि कर ली जाती है।
  • मशरूम उगाने के लिए सर्वप्रथम गेहूं के भूसे को या धान के पराली को सुखाकर कुछ जरूरी केमिकल डालकर धुल लिया जाता है जिससे उसमें लगे कीड़े एवं फफूद साफ हो जाए।
  • उसके बाद उसको कई दिनों तक उलट पलट कर पानी डाल डालकर सड़ा करके खाद तैयार किया जाता है।
  • इसके बाद सड़े हुए खाद में लगभग 15 से 20 किलो खाद में 1 किलोग्राम बीज (स्पान) मिलाकर बडे-बडे 15*30 साइज के पॉलिथीन में भर दिया जाता है।
  • इसके बाद पॉलिथीन में 15-20 छोटे छोटे छेदकर दिए जाते हैं और उचित दूरी पर कमरे में रस्सी की सहायता से टांग दिया जाता है रैक बनाकर उचित दूरी पर रख दिया जाता है।
  • पर्याप्त नमी बनाए रखने के लिए समय-समय पर पानी का छिड़काव किया जाता है क्योंकि नमी जितना अधिक रहेगा उतना ही जल्दी मशरुम तैयार होने लगेगा।
  • उसके बाद प्लांट या कमरे को बंद कर दिया जाता है और 15 से 20 दिनों के बाद धीरे-धीरे मशरूम निकलना शुरू हो जाता हैं और 45-50 दिनों में पूरी तरह से मशरूम तैयार हो जाता हैं।
  • जिसको आप ऊपर से ही घुमाकर आराम से निकाल लें और जल्दी से जल्दी पैकेजिंग करके मार्केट में बेच दें।
  • ऐसे ही ड्रैगन फ्रूट की खेती करके लाखों रुपये कमा सकते है।

मशरूम की पैकेजिंग एवं मार्केटिंग-Packaging and marketing of mushrooms

मशरूम तैयार होने के बाद सफाई एवं खराब मशरूम की छंटाई कर लें और डिमांड के अनुसार मशरूम की पैकेजिंग कर दें और मार्केट में उसकी सप्लाई कर दें अन्यथा उसे खुले हवा एवं नमी से बचाकर न्यूनतम तापमान में स्टोर करके रखें।

मशरूम की मार्केटिेग के लिए आप मार्केट में सब्जी, किराना की थोक एवं फुटकर दुकानों, बेकरी की दुकान पर जाकर संपर्क कर सकते हैं यह अपने आस-पास के छोटे-बड़े मार्केट में स्वयं की दुकान लगा कर सकते हैं ऑनलाइन Flipcart Amazon, INDIAMART एवं TRADEINDIA की वेबसाइट पर भी बेच सकते हैं।

मशरूम की खेती से लाभ-Benefits of mushroom cultivation

अगर बात करें मशरूम की फार्मिंग में होने वाले लाभ की तो इसमें 60 से 70 प्रतिशत तक का मुनाफा कमाया जा सकता है। मार्केट में 1 किलोग्राम मशरूम की कीमत थोक में लगभग ₹200 से 250 प्रतिकिलो एवं फुटकर में 250 से ₹400 किलो तक बिकता है।

अगर हम 1 किलोग्राम अच्छी क्वालिटी का स्पान ₹500 लाते हैं और मिलने के लिए करीब 20 किलोग्राम भूसा की कीमत ₹200 व दवा, केमिकल, पैकेजिंग, मजदुरी, मार्केटिंग एवं अन्य खर्च मिलाकर ₹500 इसके बाद कुल खर्च ₹1200 होगा।

एक किलोग्राम बीज (स्पान ) में करीब 20 किग्रा मशरूम तैयार हो सकता है ₹200 प्रति किलोग्राम के हिसाब से बेचने पर 20 किलोग्राम मशरूम की कीमत ₹4000 होगा जिसमें लागत ₹1200 निकाल दिया जाए तो 1 किलोग्राम स्पान में ₹2800 का प्रॉफिट होगा जोकि करीब 70% का लाभ हो रहा है।

मशरूम की खेती के लिए लोन एवं सब्सिडी- Loan and subsidy for mushroom cultivation

मशरूम की खेती के लिए सरकार के द्वारा भी बहुत प्रमोट किया जाता है जिस कारण मशरूम की फार्मिंग करने पर बैंक के द्वारा ऋण भी प्रधानमंत्री मुद्रा लोन योजना, प्रधानमंत्री स्वरोजगार योजना, प्रधानमंत्री रोजगार सृजन योजना आदि के माध्यम से उपलब्ध कराया जा रहा है इसके अलावा लगभग 40% की सब्सिडी भी दी जा रही है जिसकी सहायता से आप मशरूम की फार्मिंग शुरू कर सकते हैं।

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निष्कर्ष (Conclusion)

दोस्तों, इस तरह से कम पढा लिखा व्यक्ति भी मशरूम की फार्मिंग बहुत ही आसानी से कर सकता है कोई भी व्यक्ति थोड़ी बहुत ट्रेनिंग लेकर बहुत ही कम लागत में इसकी खेती शुरू कर सकता है कम लागत में अगर मशरूम का बड़ा फार्मिंग प्लांट लगाना चाहते हैं तो इसके लिए सरकार के द्वारा ऋण और सब्सिडी की भी व्यवस्था की गई है इसके लिए किसी प्रकार के लाइसेंस की भी आवश्यकता नहीं पड़ती है इसकी डिमांड साल भर बनी रहती है और इसकी फार्मिंग करने में ज्यादा रिस्क भी नहीं है ऐसी स्थिति मेंआप मशरूम की फार्मिंग कर सकते हैं।

मशरूम की खेती से संबंधित प्रश्न- FAQ

1. मशरूम का बीज कितने रुपए किलो मिलता है?

मशरूम का बीज (स्पान) ₹100 से 100000/-किलोग्राम।

2. 1 किलो बीज में कितना मशरूम उग सकता है?

एक किलोग्राम बीज (स्पान ) में करीब 20 किग्रा मशरूम तैयार हो सकता है।

3. भारत का सबसे महंगा मशरूम कौन सा है?

गुच्छी मशरूम भारत की सबसे महंगी किस्म में से एक है इसकी कीमत 30000 से ₹40000 प्रति किलोग्राम है यह मधुमक्खी के छत्तों के समान इसकी टोपी होती है यह मशरूम जम्मू कश्मीर की पहाड़ियों में खासकर पुलवामा के आस-पास के क्षेत्र में ज्यादातर देखने को मिलता है।

4. 1 किलो मशरूम की कीमत कितनी है?

मार्केट में 1 किलोग्राम मशरूम की कीमत थोक में लगभग ₹200 से 250 प्रतिकिलो एवं फुटकर में 250 से ₹400 किलो तक बिकता है।

5. मशरूम की खेती से हम कितना कमा सकते हैं?

मशरूम की फार्मिंग में होने वाले लाभ की तो इसमें 60 से 70 प्रतिशत तक का मुनाफा कमाया जा सकता है।

6. मशरूम की बुवाई कब की जाती है?

मशरूम की बुवाई के लिए अक्टूबर से मार्च का महीना सबसे बेहतर होता है।

7. क्या मशरूम शाकाहारी है?

मशरूम पूरी तरह से शाकाहारी होता है जिसका उपयोग सब्जी के रूप में किया जाता है।

8. मशरूम की खेती पर सब्सिडी कैसे प्राप्त करें?

मशरूम की फार्मिंग करने पर बैंक के द्वारा ऋण भी प्रधानमंत्री मुद्रा लोन योजना, प्रधानमंत्री स्वरोजगार योजना, प्रधानमंत्री रोजगार सृजन योजना आदि के माध्यम से उपलब्ध कराया जा रहा है इसके अलावा लगभग 40% की सब्सिडी भी दी जा रही है

9. मशरूम की खेती करने में कितना खर्च आता है?

मशरूम की फार्मिंग अगर आप एक 15*12 के कमरे से शुरू करते हैं तो ₹20000 की आवश्यकता पड़ सकती है लेकिन अगर आप बड़े स्तर पर मशरूम की खेती करना चाहते हैं तो इसमें आपको 100000 से ₹150000 रूपये की आवश्यकता पड़ सकती है।

10. मशरूम की फार्मिंग के लिए कितने जगह की आवश्यकता पड़ती है?

मशरूम की फार्मिंग के लिए कम से कम 500 वर्गफीट मकान और झोपड़ी की आवश्यकता होगी

11. मशरूम का बीज कहां से खरीदें?

मशरूम का बीज (स्पान) खरीदने लिए बड़े मार्केट में जाकर खरीद सकते हैं या ऑनलाइन Flipcart, Amazon, INDIAMART एवं TRADEINDIA की वेबसाइट पर जाकर मशरूम का बीज (स्पान) खरीद सकते हैं जहां पर आपको ₹100 से लेकर ₹10000 तक का बीज मिल जाएगा।

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दोस्तों हम उम्मीद करते हैं कि आपको हमारे द्वारा लिखा गया यह महत्वपूर्ण रोजगार लेख मशरूम की फार्मिंग 2024 कैसे करें How to start mushroom forming business in Hindi Low investment high Profits पसंद आया होगा यदि आपका इससे जुड़ा कोई सवाल या सुझाव है तो हमें कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं इस जानकारी को आगे शेयर जरूर करें।

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